कितना और दर्द देगा बस इतना बता दे,
ऐसा कर ऐ खुदा मेरी हस्ती मिटा दे,
यूं घुट घुट के जीने से तो मौत बेहतर है,
मैं कभी न जागूं मुझे ऐसी नींद सुला दे
Kitna or dard dega bas itna bata de,
esa kar e khuda meri hasti mita de,
u ghut ghut ke jine se to mout behtar he,
me kabhi na jagu mujhe esi nind sula de